
देश में भारत-पाकिस्तान के बीच सीमा पर बढ़ते तनाव के मद्देनजर उत्तराखंड पावर कॉरपोरेशन लिमिटेड (UPCL) ने एक बड़ा निर्णय लेते हुए अपने सभी कर्मचारियों की छुट्टियां तत्काल प्रभाव से रद्द कर दी हैं। मौजूदा हालात को आपात स्थिति की ओर बढ़ते हुए देखते हुए यह फैसला एहतियात के तौर पर लिया गया है। केंद्र सरकार द्वारा जारी दिशा-निर्देशों के तहत सभी राज्यों को अलर्ट मोड पर रहने के निर्देश दिए गए हैं, और उसी के अनुपालन में यूपीसीएल ने भी यह कदम उठाया है।
यह भी देखें: 2 Day Work Week: अब हफ्ते में सिर्फ 2 दिन काम! क्या सच में आ रहा है ऐसा क्रांतिकारी कानून? जानें लेटेस्ट अपडेट
आपात स्थिति की आशंका के चलते लिया गया फैसला
उत्तराखंड पावर कॉरपोरेशन लिमिटेड (UPCL) द्वारा जारी किए गए आदेश में स्पष्ट रूप से कहा गया है कि मौजूदा राष्ट्रीय परिस्थितियों को देखते हुए देश में आपात स्थिति उत्पन्न होने की आशंका है। ऐसे में किसी भी तरह की बिजली आपूर्ति में बाधा न आए, इसके लिए कॉरपोरेशन को पूर्ण सतर्कता के साथ कार्य करना होगा। आदेश में यह भी कहा गया है कि अवकाश पर गए सभी कर्मचारी तत्काल प्रभाव से ड्यूटी पर लौटें।
इसके साथ ही यह भी निर्देश जारी किया गया है कि कॉरपोरेशन का कोई भी कर्मचारी अपने मुख्यालय को बिना अनुमति नहीं छोड़ेगा। इस आदेश को न मानने वालों पर विभागीय कार्रवाई की चेतावनी भी दी गई है।
केंद्र सरकार ने दिए थे राज्यों को जरूरी कदम उठाने के निर्देश
भारत-पाकिस्तान सीमा पर लगातार बिगड़ते हालात के बीच केंद्र सरकार पहले ही राज्यों को अलर्ट रहने और आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दे चुकी है। युद्ध जैसे हालात को देखते हुए राज्यों की प्रशासनिक मशीनरी को हाई अलर्ट पर रखा गया है। इसी कड़ी में यूपीसीएल द्वारा कर्मचारियों की छुट्टियां निरस्त करना एक रणनीतिक कदम माना जा रहा है, ताकि किसी भी आपात स्थिति में बिजली आपूर्ति जैसी आवश्यक सेवाएं बाधित न हों।
यह भी देखें: Army Rules India: क्या फौजी जंग लड़ने से कर सकते हैं इनकार? जानिए भारतीय सेना का कानून, नियम
यूपीसीएल की जिम्मेदारी और तैयारियां
उत्तराखंड पावर कॉरपोरेशन लिमिटेड राज्य में बिजली उत्पादन, वितरण और आपूर्ति की प्रमुख संस्था है। वर्तमान हालात में जब देश किसी भी तरह की आपात स्थिति की ओर बढ़ रहा है, तो यूपीसीएल की जिम्मेदारियां और भी अधिक बढ़ जाती हैं। बिजली जैसे आवश्यक संसाधन की निर्बाध आपूर्ति सुनिश्चित करना यूपीसीएल की प्राथमिकता है।
यूपीसीएल के इस फैसले को राज्य सरकार और केंद्र सरकार की रणनीतिक तैयारी के हिस्से के रूप में देखा जा रहा है। किसी भी आपदा या युद्ध जैसी स्थिति में बिजली व्यवस्था को बनाए रखना बेहद जरूरी होता है, क्योंकि यह न केवल घरेलू उपयोग के लिए बल्कि अस्पतालों, कम्युनिकेशन नेटवर्क और सुरक्षा एजेंसियों के संचालन के लिए भी आवश्यक होता है।
यह भी देखें: माथे पर टीका लगाकर आई छात्रा को स्कूल में रोका, भड़के परिजन – Tilak Controversy in School
रिन्यूएबल एनर्जी-Renewable Energy पर भी ध्यान केंद्रित
हाल के वर्षों में उत्तराखंड ने Renewable Energy स्रोतों पर भी ध्यान केंद्रित किया है। यदि भविष्य में पारंपरिक ऊर्जा आपूर्ति पर असर पड़ता है, तो Renewable स्रोतों जैसे सोलर पावर और हाइड्रो पावर से कुछ हद तक बिजली की पूर्ति संभव है। ऐसे में कर्मचारियों की सतत मौजूदगी और कार्यशक्ति बनी रहना बेहद जरूरी है।