राशन कार्ड न केवल सरकारी योजनाओं का लाभ उठाने के लिए एक महत्वपूर्ण दस्तावेज है, बल्कि यह परिवार की पहचान का भी प्रमुख माध्यम है। देश के 80 करोड़ लोग इस कार्ड के माध्यम से फ्री राशन स्कीम का लाभ उठा रहे हैं। लेकिन हाल ही में केंद्र और राज्य सरकारों को शिकायतें मिली हैं कि इस योजना का लाभ कई ऐसे लोग भी उठा रहे हैं, जो इसके लिए पात्र नहीं हैं। इन शिकायतों पर कार्रवाई करते हुए, सरकार ने स्कीम में पारदर्शिता लाने के उद्देश्य से अपात्र लोगों के राशन कार्ड रद्द करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है।
हिमाचल प्रदेश में 1.45 लाख राशन कार्ड रद्द
इस अभियान के तहत, हिमाचल प्रदेश सरकार ने अब तक 1.45 लाख राशन कार्ड रद्द कर दिए हैं। यह कार्रवाई उन परिवारों के खिलाफ की गई है, जिन्होंने अपने राशन कार्ड को आधार कार्ड से लिंक नहीं कराया या ई-केवाईसी प्रक्रिया पूरी नहीं की थी। राज्य सरकार ने सुप्रीम कोर्ट के आदेशों का पालन करते हुए यह कदम उठाया है।
खाद्द आपूर्ति एवं उपभोक्ता विभाग के अनुसार, राज्य में अभी तक केवल 80 प्रतिशत राशन कार्ड धारकों ने ही ई-केवाईसी कराया है। इसके चलते अगले कुछ दिनों में करीब एक लाख और राशन कार्ड धारकों का राशन बंद किया जा सकता है।
ई-केवाईसी कराने की सुविधा
हिमाचल प्रदेश सरकार ने राशन कार्ड धारकों को ई-केवाईसी कराने के लिए कई अवसर दिए थे। खाद्द आपूर्ति विभाग ने यह सुविधा दी है कि राशन कार्ड धारक राज्य के किसी भी नजदीकी डिपो में जाकर ई-केवाईसी प्रक्रिया पूरी कर सकते हैं। इसके बावजूद, बड़ी संख्या में लोगों ने यह प्रक्रिया पूरी नहीं की, जिसके चलते 2.45 लाख राशन कार्ड धारकों को फिलहाल राशन नहीं दिया जाएगा।
सुप्रीम कोर्ट का आदेश और पारदर्शिता की पहल
सरकार का यह कदम सुप्रीम कोर्ट के आदेश के तहत पारदर्शिता सुनिश्चित करने की दिशा में उठाया गया है। शिकायतों के अनुसार, अपात्र लोग इस योजना का अनुचित लाभ उठा रहे थे। इससे पात्र और जरूरतमंद परिवारों को नुकसान हो रहा था। सरकार इस योजना को साफ-सुथरा और पारदर्शी बनाने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है।
राशन कार्ड से जुड़ी अन्य योजनाएं
राशन कार्ड न केवल फ्री राशन स्कीम बल्कि अन्य कई सरकारी योजनाओं, जैसे प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना, मिड-डे मील स्कीम और स्वास्थ्य बीमा योजनाओं का लाभ उठाने में सहायक है। राशन कार्ड को आधार कार्ड और अन्य दस्तावेजों से लिंक करना आवश्यक है, ताकि किसी भी प्रकार की धोखाधड़ी को रोका जा सके।
भविष्य में क्या होगा?
हिमाचल प्रदेश में ई-केवाईसी प्रक्रिया को आगे बढ़ाने के लिए सरकार जागरूकता अभियान चला रही है। विभाग का कहना है कि यदि राशन कार्ड धारक जल्द से जल्द ई-केवाईसी पूरी नहीं करते हैं, तो उन्हें सरकारी राशन योजना से बाहर कर दिया जाएगा। यह कदम योजना में शामिल पात्र और जरूरतमंद लोगों तक लाभ पहुंचाने के लिए उठाया गया है।