
ऑपरेशन सिंदूर के तहत भारतीय सेना द्वारा हाल ही में पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) में आतंकी ठिकानों पर की गई कार्रवाई के बाद देश के कई सीमावर्ती जिलों में स्कूल-कॉलेजों को बंद करने का निर्णय लिया गया है। यह कदम पूरी तरह से एहतियाती सुरक्षा उपायों के तहत उठाया गया है ताकि किसी भी संभावित खतरे से छात्रों और स्टाफ को सुरक्षित रखा जा सके।
यह भी देखें: अब हाईवे और गांवों में नहीं खुलेंगे शराब के ठेके, ठेके खोलने का टाइम भी बदला
किन राज्यों और जिलों में लागू हुआ स्कूल बंदी आदेश
जम्मू-कश्मीर, पंजाब और राजस्थान के सीमावर्ती जिलों में यह आदेश तत्काल प्रभाव से लागू किया गया है और इन इलाकों के सभी सरकारी एवं निजी शिक्षण संस्थानों को 3 दिनों के लिए बंद रखने के निर्देश दिए गए हैं। इस दौरान न सिर्फ स्कूल और कॉलेज बंद रहेंगे, बल्कि कई विश्वविद्यालयों ने भी परीक्षा स्थगित करने की सूचना जारी की है। कश्मीर विश्वविद्यालय (University of Kashmir) ने 7 मई को होने वाली सभी परीक्षाओं को अगली तिथि तक स्थगित कर दिया है।
जम्मू-कश्मीर में कहां-कहां हुए स्कूल बंद
जम्मू और कश्मीर के जम्मू, सांबा, कठुआ, राजौरी, पुंछ, कुपवाड़ा, बारामुला और गुरेज जैसे संवेदनशील जिलों में सबसे पहले स्कूल-कॉलेज बंद करने के आदेश जारी हुए। यहां सुरक्षा बलों की गतिविधियां और सतर्कता बढ़ा दी गई है ताकि किसी भी आकस्मिक स्थिति से निपटा जा सके।
पंजाब और राजस्थान के सीमावर्ती इलाकों में क्या स्थिति
पंजाब के फाजिल्का, फिरोजपुर, गुरदासपुर, पठानकोट और अमृतसर में भी यही आदेश लागू कर दिए गए हैं। विशेषकर पठानकोट में 72 घंटे तक सभी शिक्षण संस्थान बंद रखने के स्पष्ट निर्देश जारी किए गए हैं। राजस्थान की सीमा से लगे जिलों जैसे बाड़मेर, जैसलमेर, बीकानेर और श्रीगंगानगर में भी शिक्षण संस्थानों को बंद कर दिया गया है। राज्य सरकारों ने स्थानीय प्रशासन को यह सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं कि स्कूलों के संचालन को फिलहाल रोका जाए।
यह भी देखें: शिक्षा विभाग का नया फरमान अब छात्रों को रविवार को भी जाना होगा स्कूल, आदेश जारी
ऑपरेशन सिंदूर से जुड़े सुरक्षा कारण
इस पूरे घटनाक्रम में ऑपरेशन सिंदूर का जिक्र मुख्य रूप से किया जा रहा है, जिसमें भारत ने PoK के आतंकी लॉन्च पैड्स को निशाना बनाते हुए निर्णायक कार्रवाई की है। सुरक्षा एजेंसियों का मानना है कि इस कार्रवाई से पाकिस्तान स्थित आतंकवादी संगठनों की क्षमता को गंभीर रूप से नुकसान पहुंचा है। इसके बाद संभावित जवाबी कार्रवाई को ध्यान में रखते हुए स्कूल-कॉलेज बंद करने जैसे एहतियाती कदम उठाए गए।
गृह मंत्रालय और शिक्षा विभाग की अधिसूचना
गृह मंत्रालय (Ministry of Home Affairs) द्वारा राज्यों को पत्र भेजकर सीमावर्ती क्षेत्रों में स्कूलों को अस्थायी रूप से बंद रखने की सलाह दी गई थी, जिसे अब राज्यों ने अमल में लाना शुरू कर दिया है। राज्यों के शिक्षा विभागों ने भी इस संबंध में अधिसूचना जारी की है, जिसमें स्पष्ट तौर पर स्कूलों को 3 दिन के लिए बंद रखने का निर्देश है।
पढ़ाई कैसे होगी जारी
हालात सामान्य होने पर स्कूलों को फिर से खोला जाएगा और परीक्षाओं की नई तारीखों की घोषणा विश्वविद्यालयों की ओर से जल्द की जाएगी। फिलहाल विद्यार्थियों को ऑनलाइन कक्षाओं के माध्यम से पढ़ाई जारी रखने की सलाह दी गई है, ताकि उनकी पढ़ाई बाधित न हो। इस अस्थायी बंदी के दौरान स्कूलों और कॉलेज परिसरों में किसी भी तरह की गतिविधि पर रोक लगा दी गई है और सुरक्षा बलों को तैनात कर दिया गया है।
अभिभावकों और छात्रों की प्रतिक्रिया
सरकार द्वारा लिए गए इस फैसले की अभिभावकों और शिक्षकों ने सराहना की है, क्योंकि यह फैसला बच्चों की सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देता है। हालांकि, कई छात्र और अभिभावक इस बात को लेकर चिंतित भी हैं कि परीक्षाओं पर इसका क्या प्रभाव पड़ेगा। अधिकारियों का कहना है कि परीक्षा कार्यक्रम को दोबारा तैयार किया जाएगा और छात्रों को समय से जानकारी दी जाएगी।
यह भी देखें: Operation Sindoor: पीएम मोदी ने दिया मिशन को नाम, एयरस्ट्राइक से कांप उठा पाकिस्तान